श्री केदारनाथ ज्योतिर्लिंग
निर्मल सेवा सस्थान सहरसा बिहार की और से |
केदारनाथ ज्योतिलिंग
के स्थापना की कथा अत्यंत रोचक है महाभारत के युध्य में पांडव बिजयी हुई थे सभी
पांचो पांडव भगवान शिव का आशिर्बाद पाकर पाप से मुक्त होना चाहते थे लेकिन भगवान् शिव
उन पांचो पांडव से नाराज थे
पांडव भगवान् शिव को
खोजते खोजते हिमा लय तक आ पहुचते थे लेकिन भगवान् शिव पांचो पांडवो को दर्शन नहीं देना
चाहते थे भगवान् शिव केदार घाटी चले गए थे पांडवो ने उनका पीछा करते हुए केदार
घाटी पहुच गए थे भगवान शिव ने बैल का रूप बना लिया था वह अन्य जानवरों के साथ निकल
जाना चाहते थे लेकिन पांचो पांडवो को संदेह हो गया था भीम ने विशाल रूप धारण कर लिया
था और दोनों पैरो को फेला कर दो पहरों के बिच फेला दिया था बाकि जानवर तो निकल गए थे
परन्तु भगवान शिव ने भीम के पेरो के निचे से निकलना नहीं चाहते थे भीम ने भगवान् शंकर
को पहचान लिया था वह भगवान शंकर को पकरने के लिए आगे बड़े लेकिन भगवान शिव ने बैल के रूप के रूप में जमीं में
गायब होने लगे थे भीम ने बैल के पीठे को पाकर लिया था भगवान शंकर पांडवो की भक्ति से
खुश हो गए थे उन्होंने पांडवो को पाप मुक्त
श्री केदारनाथ ज्योतिलिंग
का मंदिर एक काफी बारे चबूतरे पर बना हुआ है इसका निर्माण १०वि या १२वि सताब्दी के
मध्य का है मंदिर कल्चुरियन शेली में बना हुआ है श्री केदारनाथ ज्योतिलिंग हिन्दुओ
के प्राचीन चार धाम में से एक है मंदिर के गर्भ गृह में भगवान शिव चट्टान के रूप में
विराजबान है मुख्य द्वार पर नंदी की मूर्ति है मंदिर के ठीक पीछे शंकराचार्य की समाधी
बनी है शंकराचार्य ने ३२ बर्ष की आयु में मोक्ष पप्राप्त किया था श्री केदारनाथ मंदिर
के बगल में एक झील है इसका पानी काफी ठंडा है कहा गया है की इसी झील से युधिस्ठिर स्वर्ग
गए थे श्री केदारनाथ के करीब ही बासुकी ताल है इसमें काफी बड़े कमल पाए जाते है श्री
केदारनाथ में सर्दियों में काफी बर्फ गिरती है नवम्बर से अप्रैल महीने तक मंदिर बंद
रहता है इस दोरान यहाँ कोई भी नहीं रहता है श्री केदारनाथ जी की पालकी उखी मठ पहुचा
दी जाती है यहाँ के ग्रामीण लोग निचे के गाँव में चले जाते है श्री केदारनाथ मंदिर
मंदाकनी नदी के किनारे बसा हुआ है मंदिर के अन्दर अब रौशनी की सुबिधा हो गयी है :बाबा
के दर्शन के लिए logo की काफी भीर जमा होती है अब श्री केदारनाथ ट्रस्ट की और से टाइम
स्लॉट के अनुसार दर्शन की व्यबस्था हो गयी
है श्री केदारनाथ में रुकने के लिए कई निजी होटल भी है जहा आपको १००० से ४००० में अछे
रूम मिल जायेंगे पास ही इक आश्रम भी है जहा भी आप जाकर रुक सकते है २०१३ के त्रासदी
के बाद श्री केदारनाथ का नव निर्माण चल रहा है यहाँ आप उस भीम शिला का दर्शन कर
सकते है जो २०१३ की त्रासदी में श्री केदारनाथ मंदिर की रक्षा की थी मंदिर के आस पास
भी कई और मंदिर है जिनका भी आप दर्शन पूजन कर सकते है यहाँ जाने के लिए अब हेलीकाप्टर की भी सुविधा है
जो आपको श्री केदारनाथ मंदिर तक पंहुचा देगी आप अपनी सुभिधा के अनुसार दर्शन पूजन
कर सकते है :
WRITEN BY स्वामी निर्मल गिरी जी महाराज
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